नोएडा में कार्यरत पत्रकारों और मीडिया कर्मियों के लिए एक विशेष आध्यात्मिक कार्यक्रम का आयोजन ब्रह्माकुमारी सेंटर, सेक्टर 46, नोएडा द्वारा किया गया। इस प्रेरणादायक सत्र का संचालन वरिष्ठ राजयोग शिक्षिका बी.के. लीना ने किया, जिसमें पत्रकारों को राजयोग ध्यान का अभ्यास कराया गया और ब्रह्माकुमारी दर्शन के माध्यम से मानसिक शांति व आंतरिक शक्ति प्राप्त करने की विधि समझाई गई।
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| ब्रह्माकुमारी |
बी.के. लीना ने कहा कि पत्रकारिता का क्षेत्र जितना गतिशील और रोमांचक है, उतना ही तनावपूर्ण और चुनौतीपूर्ण भी है। डेडलाइनों का दबाव, संवेदनशील खबरों की जिम्मेदारी और व्यक्तिगत जीवन के बीच संतुलन—इन सबके चलते पत्रकारों में मानसिक थकावट, चिंता और अवसाद की प्रवृत्ति बढ़ती जा रही है। ऐसे में ब्रह्माकुमारी का राजयोग ध्यान और आत्मिक ज्ञान पत्रकारों को भीतर से स्थिर और सशक्त बना सकता है।
उन्होंने विशेष रूप से "आत्मा के बोध" की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा,
“हम मानते हैं कि हम यह शरीर नहीं, बल्कि ‘आत्मा’ हैं—शुद्ध, शांत, आनंदस्वरूप शक्ति। जब यह आत्म-चिंतन होता है, तो व्यक्ति बाहरी घटनाओं से प्रभावित होने के बजाय भीतर से सशक्त हो जाता है।”
इसी के साथ उन्होंने परमात्मा से संबंध की बात करते हुए बताया,
“परमात्मा सर्वशक्तिमान, सर्वगुणों और सर्वशांति का स्रोत हैं। जब हम रोज़ राजयोग ध्यान के माध्यम से आत्म-संपर्क को परमात्मा से जोड़ते हैं, तो हमें ऐसी शक्ति और शांति मिलती है जो किसी भी तनाव को सहजता से दूर कर सकती है।”
कार्यक्रम के दौरान बी.के. बहनों ने उपस्थित मीडिया कर्मियों को प्रेमपूर्वक राखी बांधी और प्रसाद वितरित किया, जिससे एक सकारात्मक और आत्मीय वातावरण बन गया। कार्यक्रम का समापन सात्विक भोजन के साथ हुआ, जिसे सभी ने मिलकर प्रेमपूर्वक ग्रहण किया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता वरिष्ठ पत्रकार एवं प्रेस क्लब के अध्यक्ष श्री आलोक द्विवेदी ने की. उन्होंने इस अवसर पर कार्यक्रम की सराहना करते हुए गहरी प्रशंसा की और कहा कि इस प्रकार के आयोजन आज की तेज़ भागती जीवनशैली में बेहद आवश्यक हैं। यह आयोजन न केवल एक मानसिक विश्रांति (detox)का अवसर था, बल्कि आत्मिक ऊर्जा से भरने वाला अनुभव भी बना।
बी.के. लीना ने अंत में कहा उन्होंने कहा कि आत्मिक अनुभूति, परमात्मा से संबंध, और राजयोग अभ्यास—पत्रकारों को तनावमुक्त, सशक्त और संतुलित जीवन की ओर प्रेरित करता है। जब भीतर की शक्ति जागृत होती है, तब बाहर की चुनौतियाँ छोटी प्रतीत होती हैं।
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